पल में तोला,
पल में माशा है ये जिंदगी ..
कभी डूबती नाव सी,
कभी छोटी सी आशा है जिंदगी ...
कभी गम है , कभी है तन्हाई .,
किसी के मन का दिलाशा है ये जिंदगी ...
पल में तोला, पल में माशा है ये जिंदगी ..
एक फूल की छुअन ,
काटें की चुभन .
उगता हुआ सूरज,
बड़ता हुआ अँधेरा .
काली सी रात ,खिलता सवेरा ..
चुभते हुए लफ्ज , प्रेम की भाषा है जिंदगी....
पल में तोला, पल में माशा है ये जिंदगी ..
रंगों को समेटे , रंगों को बिखेरे ..
सपनो के समुन्दर, चाहतो के मेले .
न जाने क्या है, समाये है खुद में ..
खुद को पाने की एक आशा है जिंदगी ...
पल में तोला, पल में माशा है ये जिंदगी ..
" अमन मिश्र "
पल में माशा है ये जिंदगी ..
कभी डूबती नाव सी,
कभी छोटी सी आशा है जिंदगी ...
कभी गम है , कभी है तन्हाई .,
किसी के मन का दिलाशा है ये जिंदगी ...
पल में तोला, पल में माशा है ये जिंदगी ..
एक फूल की छुअन ,
काटें की चुभन .
उगता हुआ सूरज,
बड़ता हुआ अँधेरा .
काली सी रात ,खिलता सवेरा ..
चुभते हुए लफ्ज , प्रेम की भाषा है जिंदगी....
पल में तोला, पल में माशा है ये जिंदगी ..
रंगों को समेटे , रंगों को बिखेरे ..
सपनो के समुन्दर, चाहतो के मेले .
न जाने क्या है, समाये है खुद में ..
खुद को पाने की एक आशा है जिंदगी ...
पल में तोला, पल में माशा है ये जिंदगी ..
" अमन मिश्र "
सुंदर एवं भावपूर्ण रचना...
जवाब देंहटाएंआप की ये रचना 19-04-2013 यानी आने वाले शुकरवार की नई पुरानी हलचल
पर लिंक की जा रही है। सूचनार्थ।
आप भी इस हलचल में शामिल होकर इस की शोभा बढ़ाना।
मिलते हैं फिर शुकरवार को आप की इस रचना के साथ।
बहुत सुन्दर....बेहतरीन प्रस्तुति !!
जवाब देंहटाएंपधारें बेटियाँ ...